टीबी मुक्त होगा महराजगंज, अब गांवों में ही मिलेगी जांच और इलाज की सुविधा

महराजगंज। अब टीबी के लक्षण दिखने पर मरीजों को जांच के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। जिले में 191 हेल्थ वेलनेस सेंटर संचालित हैं, जहां ग्रामीण क्षेत्रों में ही टीबी की जांच और इलाज की सुविधा उपलब्ध होगी। स्वास्थ्य विभाग ने कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर्स (सीएचओ) को संभावित टीबी मरीजों की स्क्रीनिंग की जिम्मेदारी दी है। यदि टीबी पॉजिटिव मरीज मिलता है, तो उसे नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र भेजकर बलगम और एक्स-रे जांच कराई जाएगी।

यदि बलगम जांच में टीबी की पुष्टि होती है, तो मरीज का जिला क्षयरोग चिकित्सालय में पंजीकरण होगा और तुरंत दवा शुरू कर दी जाएगी। टीबी मरीजों को छह माह तक नियमित रूप से DOTS प्रोवाइडर की निगरानी में दवा दी जाएगी। कोर्स पूरा होने के बाद मरीज की दोबारा जांच होगी, और रिपोर्ट सामान्य आने पर दवा बंद करने की सलाह दी जाएगी।

राज्य सरकार ने महराजगंज को दिसंबर 2025 तक टीबी मुक्त बनाने का लक्ष्य तय किया है। इसके तहत घर-घर टीबी खोजी अभियान चलाया जा रहा है और सीएचओ को स्क्रीनिंग की विशेष जिम्मेदारी सौंपी गई है।

फिलहाल जिले में 5200 से अधिक टीबी मरीज हैं, जिनमें से 115 मरीज मल्टी-ड्रग रजिस्टेंस (MDR) श्रेणी में पहुंच चुके हैं। ऐसे मरीजों को छह महीने के बजाय 12 महीने तक विशेष दवा लेनी होगी।

स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, सामान्य टीबी का इलाज छह महीने में संभव है, लेकिन बीच में दवा छोड़ देने से यह बीमारी गंभीर रूप ले सकती है। इसलिए, यदि टीबी के लक्षण दिखें, तो तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें और पूरा इलाज कराएं।