महराजगंज। अब प्रदेश के उन युवाओं को भी बेहतर रोजगार के अवसर मिल सकेंगे, जिनके पास कोई विशेष डिग्री नहीं है। उत्तर प्रदेश सरकार ने आपदा प्रबंधन जैसे अहम क्षेत्र में संभावनाएं तलाशते हुए फायर सेफ्टी में प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू करने का निर्णय लिया है।
आईटीआई, आपदा प्रबंधन, अग्निशमन तथा सेवायोजन विभाग के संयुक्त सहयोग से यह प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित होगा। प्राविधिक शिक्षा परिषद के निर्देश पर इसकी रूपरेखा तैयार की जा रही है। यह एक तीन माह का शॉर्ट टर्म स्किल डेवलपमेंट प्रोग्राम होगा, जिसमें युवाओं को प्रशिक्षण देकर निजी क्षेत्र में रोजगार के अवसर उपलब्ध कराए जाएंगे।
इस कार्यक्रम के तहत दसवीं पास युवा पात्र होंगे। प्रशिक्षण के उपरांत युवाओं को प्राविधिक शिक्षा परिषद की ओर से प्रमाण पत्र प्रदान किया जाएगा। प्रशिक्षित युवाओं को मॉल, अस्पताल, शिक्षण संस्थान, ऊंचे रिहायशी भवन और आवासीय कॉलोनियों में फायर सेफ्टी ऑफिसर के रूप में नियुक्त किया जा सकेगा।
सेवायोजन विभाग अपने यहां पंजीकृत दसवीं उत्तीर्ण युवाओं की सूची तैयार करेगा और उन्हें प्रशिक्षण के लिए आमंत्रित करेगा। प्रशिक्षण का संचालन आईटीआई संस्थानों में होगा, जबकि प्रशिक्षण कार्य आपदा प्रबंधन और अग्निशमन विभाग के विशेषज्ञ करेंगे।
यह पहल मॉडल फायर सर्विस बिल 2019 और उत्तर प्रदेश अग्निशमन एवं आपात सेवा अधिनियम 2022 के अंतर्गत की जा रही है। सरकार का उद्देश्य युवाओं को रोजगारोन्मुखी प्रशिक्षण देकर अग्निकांड की घटनाओं को न्यून करना है। इस संबंध में जल्द ही आधिकारिक आदेश जारी होने की संभावना है।