
महराजगंज। ट्रेनों का निरस्त्रीकरण यात्रियों के लिए परेशानी का सबब बन गया है। नौतनवा से शाम 6.55 पर गोरखपुर के लिए आखिरी पैसेंजर ट्रेन चौथे दिन शुक्रवार को भी निरस्त रही। यात्री प्राइवेट वाहनों का इंतजार और महंगा किराया देकर अपने मंजिल तक किसी तरह पहुंच रहे हैं।
मुसाफिरों को सबसे मुश्किलों का सामना उसे समय करना पड़ रहा है। जब तैयार होकर ट्रेन के लिए स्टेशन पहुंच रहे हैं और अचानक सूचना ट्रेन निरस्त की मिलती है तो लोगों में हड़बड़ी मच जा रही है। 55071 नकहा जंगल से 2.50 पर चलकर नौतनवा शाम करीब 5.15 बजे पहुंचती है।
लेकिन पिछले चार दिनों से ट्रेन के पहिए पर ऐसा ब्रेक लगा है कि वह रात करीब 10 या 12 बजे नौतनवा स्टेशन पहुंच रही है। जिसके वजह से शाम 6.55 पर जाने वाली 55072 आखरी पैसेंजर ट्रेन को रेल प्रशासन को निरस्त कर देनी पड़ रही है।
ट्रेन निरस्त की सूचना भी यात्रियों को तब हो रही है, जब वह ट्रेन पकड़ने के समय रेलवे स्टेशन पहुंच रहे हैं। इस बीच ट्रेन देरी की सूचना या फिर निरस्त हो जाने की सूचना मिलने पर यात्रियों में अफरातफरी मच जा रही है। पैसेंजर ट्रेन के संचालन की व्यवस्था पिछले एक माह से इस तरह लडखड़ा चुकी है कि क्षेत्र के लोगों को रेल से यात्रा करने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। ट्रेन कब आएगी और कब जाएगी इसका रेल प्रशासन तक को नहीं पता रह रहा है।