महराजगंज। मौसम के उतार-चढ़ाव से न सिर्फ वायरल से ठीक होने में समय लग रहा है बल्कि एक नयी समस्या का भी सामना करना पड़ रहा है। बुखार के बाद साइटोकिन्स रसायन के स्राव से लोगों की भूख मिट जा रही है। शनिवार को 17 रोगी ऐसे मिले जो वायरल फीवर से उबर चुके हैं लेकिन अब भूख नहीं लगने की समस्या से जूझ रहे हैं।
जिला अस्पताल की ओपीडी में शनिवार को 874 रोगियों का उपचार किया गया। सर्वाधिक मरीज वायरल फीवर के ही रहे। वायरल फीवर का नया वैरिएंट लगभग सप्ताह भर के बाद नियमित दवाओं के सेवन से पीछा छोड़ रहा है। शनिवार को 17 ऐसे रोगी मिले जिन्हें बुखार के बाद भूख नहीं लगने की समस्या से जूझना पड़ रहा है।
जांच रिपोर्ट के अनुसार यह समस्या साइटोकिन्स रासायन की अधिकता के कारण उत्पन्न हो रही है। डाॅ. अनिल कुमार ने बताया कि जब शरीर वायरल से लड़ता है तब प्रतिरक्षा प्रणाली साइटोकिन्स रसायन स्राव करता है। यह मस्तिष्क में भूख को नियंत्रित करने वाले न्यूरॉन्स को दबा देता है जिससे भूख का एहसास नहीं होता।
ऐसा इसलिए होता है क्योंकि संक्रमण से लड़ने में अधिक उर्जा लगती है। ऐसे में प्रतिरक्षा प्रणाली भूख में खर्च होने वाली उर्जा बचाने के लिए भूख का एहसास कम करता है। इस समस्या से घबराने की जरूरत नहीं है। यह खुद ही 10-15 दिनों में ठीक हो जाता है।
ऐसे मरीजों को सुनिश्चित करना चाहिए कि पेट साफ होता रहे, तीन से चार घंटे के बाद हल्का व सुपाच्य खाद्य, फल, मेवा, सलाद इत्यादि का सेवन करते रहें। चिकित्सक के मार्गदर्शन में ही चिकित्सा उपाय अपनाएं।